शशि थरूर ने GST सुधारों, मतदाता सूची और कांग्रेस के ट्वीट पर रखी अपनी बात!
नमस्ते दोस्तों! आज हम बात करेंगे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और सांसद शशि थरूर के हालिया बयानों की। उन्होंने गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स (GST) में हुए सुधारों, चुनावों के दौरान मतदाता सूची में पाई जाने वाली गड़बड़ियों और हाल ही में कांग्रेस पार्टी के एक विवादित ट्वीट पर अपनी प्रतिक्रिया दी है। आइए, विस्तार से जानते हैं कि उन्होंने क्या कहा।
GST सुधारों पर शशि थरूर का दृष्टिकोण
शशि थरूर ने GST में हुए हालिया बदलावों को लेकर अपनी सकारात्मक प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि GST में किए गए सुधारों से टैक्स व्यवस्था अधिक न्यायपूर्ण और सरल होगी, जिससे आम लोगों को राहत मिलेगी। कांग्रेस पार्टी शुरू से ही GST की दरों को सरल बनाने की वकालत करती रही है। पहले GST की चार दरें होने से टैक्स का सिस्टम जटिल था, जिससे करदाताओं को परेशानी होती थी। अब जब सरकार ने इसे सरल बनाने की दिशा में कदम उठाया है, तो यह सराहनीय है। शशि थरूर का मानना है कि GST की आदर्श दर या कम से कम दो दरें होनी चाहिए ताकि नागरिकों और व्यापारियों को टैक्स समझने और उसका पालन करने में आसानी हो। GST सुधारों से भारतीय अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिलने की उम्मीद है, जिससे रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे।
मतदाता सूची में खामियों पर चिंता
शशि थरूर ने चुनावी मतदाता सूची में मौजूद खामियों पर भी अपनी चिंता जाहिर की है। उन्होंने कहा कि डुप्लिकेट नाम, मृत मतदाताओं के नाम, पते बदलने पर नाम में बदलाव न होना जैसी समस्याएं लंबे समय से चली आ रही हैं। चुनाव आयोग को इन समस्याओं को गंभीरता से लेना चाहिए। उन्होंने सुझाव दिया कि डिजिटल तकनीक का उपयोग करके एल्गोरिदम तैयार किए जा सकते हैं, जिससे इन समस्याओं को आसानी से दूर किया जा सकता है। मतदाता सूची को अपडेट करना लोकतंत्र के लिए आवश्यक है। मतदाता सूची में त्रुटि होने से चुनावों की निष्पक्षता पर सवालिया निशान लगता है। चुनाव आयोग को मतदाता सूची को पारदर्शी और विश्वसनीय बनाने के लिए हर संभव प्रयास करना चाहिए। वोटर आईडी अपडेट करने की प्रक्रिया को आसान बनाने की भी जरूरत है ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग इसका लाभ उठा सकें।
चुनाव आयोग को पारदर्शिता की सलाह
शशि थरूर ने चुनाव आयोग को मतदाता सूची की समीक्षा करने की सलाह दी है। उनका मानना है कि चुनाव आयोग को हर कुछ वर्षों में, और संभव हो तो हर साल, मतदाता सूची की समीक्षा करनी चाहिए। यह न केवल मतदाताओं का भरोसा जीतने के लिए जरूरी है, बल्कि चुनाव आयोग की साख के लिए भी आवश्यक है। चुनाव आयोग को तकनीक का सही उपयोग करके मतदाता सूची को पारदर्शी और निष्पक्ष बनाना चाहिए। चुनाव प्रक्रिया में पारदर्शिता लोकतंत्र की नींव है। इलेक्शन कमीशन को चुनावों को निष्पक्ष और स्वतंत्र रूप से कराने के लिए प्रतिबद्ध रहना चाहिए।
कांग्रेस के विवादित ट्वीट पर सफाई
हाल ही में कांग्रेस पार्टी के केरल यूनिट के आधिकारिक अकाउंट से एक विवादित ट्वीट किया गया था, जिसमें बिड़ी और बिहार का उल्लेख था। शशि थरूर ने इस मामले पर कहा कि यह मामला अब खत्म हो चुका है और इस पर और बहस करने की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा कि पार्टी ने ट्वीट हटाकर सही कदम उठाया है। राजनीतिक पार्टियों को सोशल मीडिया का उपयोग करते समय अधिक सावधानी बरतनी चाहिए और किसी भी विवादित टिप्पणी से बचना चाहिए। कांग्रेस पार्टी का कहना है कि वे सभी नागरिकों का सम्मान करते हैं। राजनीतिक बयानबाजी हमेशा सत्य और तथ्यों पर आधारित होनी चाहिए।